महाराष्ट्र में मचा घमासान और गहरा होता जा रहा है, लड़ाई राजभवन और विधानसभा तक पहुंच गई है। एक तरफ जहां उद्धव ठाकरे, हर प्रयास से महाविकास अघाड़ी सरकार और पार्टी (शिवसेना) को बचाने की कोशिशों में लगे है, वही शिवसेना कार्यकर्ता अपना आक्रोश प्रदर्शित करते नज़र आये, शिवसेना कार्यकर्ताओं ने पुणे में उत्पात मचाया है।
ये कार्यकर्ता बागी विधायक तन्नाजी सावंत के दफ्तर में पहुंचे और तोड़फोड़ की। पुणे शहर के शिव सेना प्रमुख ने कहा है कि, उनके ही कार्यकर्ताओं ने तोड़फोड़ की है। उन्होंने कहा कि सभी बागी विधायकों और गद्दारों, जिसने पार्टी प्रमुख उद्धव ठाकरे को संकट में डाला है, को इसी तरह की कार्रवाई का सामना करना पड़ेगा। इसके अलावा उनके दुकानों में भी तोड़फोड़ की गई। साथ ही उनके ऑफिस और दुकानों की दीवारों पर शिवसैनिकों ने गद्दार भी लिखा। जिसके बाद इस पूरे मामले पर शिवसेना नेता संजय राउत ने भड़काऊ बयान दिया है। उनका कहना है कि जनता को आक्रोश रोका नहीं जा सकता।
वही शिवसेना के बागी विधायक एकनाथ शिंदे ने भी मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे, महाराष्ट्र के गृह मंत्री, डीजीपी महाराष्ट्र को पत्र लिखा है। पत्र में उन्होंने लिखा की 38 विधायकों के परिवारों के सदस्यों की सुरक्षा को दुर्भावनापूर्ण रूप से वापस लिया गया है। नेता एकनाथ शिंदे के विधानसभा क्षेत्र थाणे में पुलिस ने 8 जुलाई तक निषेधाज्ञा लगा दी है। साथ ही हथियार, लाठी, तलवार, भाला, बंदूकें, लाठी, या शरीर को घायल करने के लिए इस्तेमाल की जाने वाली किसी भी अस्त्र-शस्त्र को लाने या ले जाने, उसका भंडारण करने पर रोक रहेगी।
लेकिन शिवसेना कार्यकर्ताओं ने पुणे में उत्पात मचाया हुआ है, और चल रहे प्रदर्शन को लेकर अभी तक शिवसेना की ओर से कोई भी आपत्ति सामने नहीं आई है। साथ ही समर्थनकर्ताओ ने एकनाथ शिंदे के लगे पोस्टर्स पर भी लाठी डंडो से प्रहार किया और पोस्टर्स फाड़ दिए। वही कही कालिख दाल कर एकनाथ शिंदे का विरोद किया जा रहा है।