कहीं शादी में महीने भर रोती है दुल्हनकहीं दूल्हा – दुल्हन पर अंडे फेंकने का प्रचलनकहीं पेड़ से बाँधा जाता है दूल्हाकहीं विदाई के वक़्त बेटी पर थूकता है पिता अजीबों गरीब हैं शादी की ये रस्में!
शादी व्यक्ति के जीवन में एक नया दौर लेकर आता है इसीलिए इसे मानव जीवन का अहम हिस्सा माना जाता है। शादी से संबंधित सभी रस्में भी यहीं बतलाती हैं। भारतीय शादियों में जूता चुराने से लेकर मिलनी आदि जैसे कई रिवाज हैं। ये रस्में ना केवल दूल्हा-दुल्हन बल्कि उनके परिवारों में भी आपसी सामंजस्य बनाये रखने के लिए बनाये गए हैं। इसी तरह विश्व के दूसरे देशों में भी शादी से जुड़े कई तरह की प्रथाएं प्रचलित हैं लेकिन कुछ देशों में शादी से जुड़े रिवाज इतने अजीबोगरीब हैं जिनके बारे में सुनना भी अजीब लगता है। इन रिवाजों में आशीर्वाद देते वक्त दुल्हन पर थूकने से लेकर दूल्हा-दुल्हन पर सड़े अंडे फेंकना, उन्हें काला करना आदि भी शामिल है। आइये जानते हैं ऐसे ही कुछ रिवाजों के बारे में –
शादी के एक महीने पहले से दुल्हन के रोने का रिवाज, चीन -चीन के झांगजियाजी में तुजिया जाति की दुल्हनों को अपनी शादी के दिन से कम से कम एक महीने पहले अपनी मां या अन्य महिला रिश्तेदारों की देखरेख में रोना सीखने का अभ्यास करना होता है. इस जाति की दुल्हनें ‘क्राइंग मैरिज सॉन्ग’ नामक एक दुखद गीत को गाते हुए शादी के महीने भर पहले से रोती हैं.
ये प्रथा दुल्हन के लिए अपने परिवार से अलग होने की अनिच्छा प्रकट करते हुए शादी का स्वागत करने का एक तरीका है. कहा जाता है कि तुजिया लोग दुल्हन की बुद्धिमत्ता और गुण का आंकलन इस आधार पर करते हैं कि वो कितनी अच्छी तरह से रोती है, और कितने दुख के साथ क्राइंग मैरिज सॉन्ग गाती है.
दूल्हा-दुल्हन को काला करने की प्रथा, स्कॉटलैंड -स्कॉटलैंड के ग्रामीण इलाकों में, दुल्हन और कभी-कभी दूल्हे का पीछा किया जाता है और खराब गंध वाली चीजों से उन्हें काला किया जाता है. दूल्हा-दुल्हन को काला करने के लिए अंडे, सड़े हुए भोजन और मरी हुई मछली जैसी खराब चीजों का इस्तेमाल किया जाता है.
इसके बाद जोड़े को घंटे भर के लिए एक पेड़ से बांध दिया जाता है. ये प्रथा शादी में आने वाली चुनौतियों के बारे में जोड़े को चेतावनी देता है कि उन्हें शादी को हल्के में नहीं लेना चाहिए. जो जोड़े इस रस्म को भली भांति निभाते हैं, माना जाता है कि उनकी शादी बेहद सफल होती है.
आशीर्वाद देते हुए दुल्हन के ऊपर थूकना, केन्या –
केन्या में जब एक मसाई जनजाति की बेटी अपने घर को छोड़कर अपने पति के घर जा रही होती है, तो दुल्हन के पिता उसके माथे पर थूककर उसे आशीर्वाद देते हैं.
थूकना केन्याई और तंजानिया की आदिवासी संस्कृति में शामिल है. इसे सम्मान का प्रतीक माना जाता है. मसाई लोग हाथ मिलाने से पहले अपनी हथेलियों में थूकते हैं. वो नवजात बच्चों के भाग्य और दीर्घायु की कामना के लिए भी उन पर थूकते हैं.